भदोही लोकसभा सीट से कांग्रेस के बाद बसपा ने भी अपने पत्ते खोलते हुए पूर्व मंत्री और लोकसभा प्रभारी रंगनाथ मिश्रा को अपना अधिकृत प्रत्याशी घोषित कर दिया है। अब लोगों की निगाह भाजपा की तरफ टिकी है कि वो किसे टिकट देती है। आज शाम तक भाजपा उम्मीदवार के घोषणा होने के बाद भदोही लोकसभा की चुनावी लड़ाई शुरू हो जाएगी। बड़ी बात है कि कांग्रेस और बसपा ने जिन्हें उम्मीदवार बनाया है वो पूर्व भाजपाई रहे हैं।
बसपा से मैदान में उतारे गए रंगनाथ मिश्रा ने अपनी राजनीतिक पारी की शुरुआत भाजपा से की थी।
औराई विधानसभा में भाजपा से 1993, 1997, 2005 और बसपा से 2007 में कुल चार बार विधायक रहे। उत्तर प्रदेश सरकार में गृह मंत्री, शिक्षा मंत्री, ऊर्जा मंत्री, परिवार कल्याण मंत्री, और वन मंत्री जैसे महत्वपूर्ण विभागों में मंत्री पद पर रहे।
2007 के चुनाव में उन्होंने बसपा विधानसभा चुनाव में जीत हासिल कर मायावती की सरकार में माध्यमिक शिक्षा मंत्री बने। 2012 विधानसभा चुनाव में मिर्जापुर और पिछले विधानसभा चुनाव में बसपा ने उन्हें भदोही विधानसभा से टिकट दिया लेकिन दोनो ही चुनाव में उन्हें हार मिली। पिछले चुनाव में वो तीसरे स्थान और रहे। इस लोकसभा चुनाव को लेकर भी रंगनाथ मिश्रा बसपा से अपनी दावेदारी कर रहे थे और बसपा-सपा गठबंधन के बाद बसपा की झोली में गयी इस सीट पर मायावती ने पहले उन्हें लोकसभा प्रभारी बनाया और यहां के चुनावी मिजाज को देखते हुए उम्मीदवार के तौर पर रंगनाथ मिश्रा के नाम पर अंतिम मुहर लगा दी। चुनावी मैदान में अभी तक इकलौते ब्राम्हण उम्मीदवार होने के नाते रंगनाथ मिश्रा की स्थिति बहुत मजबूत मानी जा रही है।
कांग्रेस ने भी इस सीट से भाजपा के बागी पूर्व सांसद रमाकांत को मैदान में उतारा दिया है। भाजपा से उम्मीदवार घोषित होने के बाद यहां की जनता किसे अपना सांसद चुनती है यह देखने वाली बात होगी।